सदा खुशहाल जीवन कैसे जियें ?

भाग - 4















नमस्कार ! 








मैं डॉ. गुंजन विश्वकर्मा, स्वागत! मैं टैरो कार्ड रीडर, आध्यात्मिक हीलर , वास्तु  सलाहकार, अंकशास्त्री और मोटिवेशनल स्पीकर हूं।आप मेरे यू ट्यूब चैनल्स  पर जा सकते हैं। लिंक इस पोस्ट के आखिर में दिए गए हैं।


अपने पहले के पोस्ट में, 'जीवन भाग 1, 2 और 3 मैं  सदा  खुशहाल जीवन कैसे जिएं' मैं सुखी जीवन के लिए 21 तरीके बताए। 


इस भाग में मैं अगले 7 तरीकों का वर्णन करने जा रही हूँ,

चलिए शुरू करते हैं  :-

1.व्यक्तिगत विकास में समय का निवेश करें:-


व्यक्तिगत विकास की  गतिविधियों के द्वारा  व्यक्ति की प्रतिभा, क्षमता, रोजगार, चेतना और धन बनाने की क्षमता में सुधार होता है  । व्यक्तिगत विकास हमारे जीवन  की आवश्यक प्रक्रिया है। सर्वप्रथम आपको अपनी व्यक्तिगत विकास की योजना बनानी होगी एवं इसी  योजना के अनुरूप अपनी दिनचर्या निर्धारित करनी होगी यदि आप एक निश्चित दिनचर्या के अनुसार अपना कार्य करे तो यह आपके आत्म सुधार में आपकी सहायता करेगी
व्यक्तिगत विकास के द्वारा आप अपने व्यक्तिगत वित्त का प्रबंधन करना भी सीखते हैं, नैतिकता पूर्ण निर्णय लेते हैं और अधिक रचनात्मक सोचते हैं।
जब आप व्यक्तिगत विकास में अपना समय लगाते हैं तो आप अपनी प्रतिभा एवं कौशल  को बढ़ाने में स्वयं की  मदद कर पाते  है यह प्रक्रिया आपको स्वानुलोकन करना और स्वयं में निरंतर सुधार का अवसर प्रदान करती  है। अतः  व्यक्तिगत विकास में समय निवेश करें।  



2.पुरानी आदतों को तोड़ें और नई आदते बनायें:-


आदतें अच्छी या  बुरी दोनों हो सकती है।आदतें स्वस्थ, अस्वस्थ और तटस्थ हो सकती है। यदि आपकी कोई बुरी आदत है तो आपको उसे तोड़ना होगा और एक नई अच्छी आदत को बनाना होगा। बुरी आदतें जैसे धूम्रपान करना, अपने नाखूनों को मुँह से  काटना, अधिक टीवी देखना, फास्ट फूड खाना , शराब का सेवन करना , तनाव और बोरियत में रहना , सुबह जल्दी ना उठ पाना आदि। सबसे पहले आपको अपने दिमाग में यह निश्चित करना होगा कि आपको अपने जीवन में कुछ बड़ा करना है और इसके लिए आपको अपनी बुरी आदत को तोड़ना है और इसे  नई आदत के  साथ बदलना है | एक नई आदत को अपने जीवन में उतारने के लिए इन तीन नियमो को जिन्हें R3 फॉर्मूल कहा जाता है जीवन में उतारना होगा।
 1.स्वयं को  स्मरण दिलाते रहें 
 2. नियमित रहें
 3. स्वयं को इनाम दे

अपनी नई आदत के बारे में रोज स्वयं को याद दिलाए। अपनी दिनचर्या में उस आदत को शामिल करें और 30 दिनों के लिए नियमित रहें। इस तरह से यह आसानी से आपकी दिनचर्या में शामिल हो जाएगी। 


3.  अपने ज्ञान का विस्तार करें: -


अपने दिमाग का विस्तार करने के लिए अध्ययन निरन्तर जारी रखें,  आप अपने ज्ञान के दायरे को बढ़ाएं।  अपने ज्ञान का विस्तार करने के लिए 
 1. ज्ञानवर्धक पुस्तकें पढ़ें , नवीनतम जानकारियों के प्रति जागरूक रहें 
 2. कभी भी सवाल पूछने से डरें
 3. जानकारी की गुणवत्ता पर ध्यान दें कि मात्रा पर।
4. अपने से प्रभावी एवं वरिष्ठ लोगों के साथ बैठे एवं उनके साथ बाते करे उनके प्रभावी तरीको से आप बहुत कुछ सीखेंगे, शिक्षित रहने और ज्ञान का विस्तार करने के लिए यह सबसे प्रभावी तरीका है।

   4.    किताबें पढ़ें:-
           
                       

पुस्तकें ज्ञान से भरी होती हैं,  उनके बिना हमारे पूर्वजों, संस्कृतियों और सभ्यताओं के बारे में आज का ज्ञान असंभव था। जो लोग नियमित रूप से पढ़ते हैं वे बेहतर होते हैं । अच्छी किताबें वे मित्र  हैं जो  आपको हर संभव रूप में मदद कर सकते हैं, हँसी या आँसू के माध्यम से अपना तनाव कम कर सकते हैं, वास्तविकता से से रूबरू करवा  सकते हैं, और अपने स्वयं के दृष्टिकोण से अलग दृष्टिकोण की पेशकश कर सकते हैं। अतः अच्छी पुस्तकों को अपना मित्र बनायें।  


5.    स्वस्थ संतुलित आहार लें:-

                 

संतुलित आहार में  हमें स्वस्थ रखने के लिए कैलोरी तथा पोषक तत्वों यथा  कार्बोहाइड्रेटप्रोटीन और वसा की सही मात्रा होती है। एक स्वस्थ भोजन योजना सब्जियों, फलों, साबुत अनाज, और वसा रहित या कम वसा वाले डेयरी उत्पादों पर जोर देती है। इसमें  बीन्स और नट्स शामिल होते  हैं। जिससे आपके शरीर को सही तरीके से काम करने के लिए जरुरी ऊर्जा पर्याप्त  मात्रा में मिलती रहती है साथ ही दिनभर स्फूर्ति बनी रहती है। 

6. पर्याप्त जल सेवन करें : -

        


 प्रत्येक दिन पर्याप्त पानी पीना कई कारणों से महत्वपूर्ण है, शरीर के तापमान को नियमित करने के लिए, जोड़ों को चिकनाई देने के  लिए , संक्रमण को रोकने के लिए , पोषक तत्वों को कोशिकाओं तक पहुंचाने के लिए  और अंगों के ठीक से काम करने के  लिए । अच्छी तरह से हाइड्रेटेड रहने से  नींद की गुणवत्ता, अनुभूति और मनोदशा में भी सुधार होता है। जल  केवल त्वचा को मॉइस्चराइज्ड रखने में मदद करता है बल्कि यह अधिक स्वस्थ और 
कोमल हो जाती है  पीने का पानी हाइड्रेटेड एंड रिहाइड्रेट रहने का सबसे अच्छा तरीका है। 
दिन में अपने साथ पानी की बोतल रखें। यदि आपको सादे पानी का स्वाद पसंद नहीं है, तो अपने पेय में नींबू का रस मिला दिया करे। कसरत से पहले, दौरान और उसके बाद पानी पिएं। स्किम और कम वसा वाला दूध, ताज़े फल और सब्ज़ियाँ भी शरीर को हाइड्रेट रखते हैं|




7.  अपने दिमाग को सही जानकारी दें:-
                      
  व्यक्ति के दिमाग में नकारात्मक विचार आना बहुत ही साधारण सी बात है। इनसे बचने के लिए खुद पर विश्वास रखे और हमेशा खुश रहने की कोशिश करें ।  कई बार मन में आने वाले नकारात्मक विचार हमें कुछ इस तरह घेर लेते हैं जिससे की हमारी सोच ही नकारात्मक होती जाती है और आजकल सोशल मीडिया पर बे-सर पैर की ख़बरें ही ज़्यादा आती हैं, जो नकारात्मकता फैलाने का काम करती हैं और इसका ज्यादा प्रभाव किशोर बच्चों  की मानसिकता पर  पड़ता है।   |  बच्चों में नकारात्मक भावनाएं  बढ़ती हैं ,ऐसे में हमें खुद को इनसे  दूर रखने का हर संभव प्रयास करना जरूरी है।
 हम अपने जीवन में सकरात्मकता के साथ निरंतर चलते रहे, इसके लिए हमें बस अपने दिमाग में जो भी गलत धारणाएं बनी है,उन पर विश्वास करना छोड़ना पड़ेगा और ज्ञानवर्धक सही सकारात्मक जानकारियों से  मीडिया का उपयोग करना होगा।   | 







आशा है कि ये लेख आपको पसंद आया होगा ।
धन्यवाद 

डॉ. गुंजन विश्वकर्मा

नोटपर्स्नल  टैरो रीडिंग के लिए संपर्क कीजिये-  +91-7424830300 











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